चुराए गए 28 हजार में से 5,070 रुपये, घटना में प्रयुक्त एक्टिवा और दो चाबियां बरामद
प्रथम टुडे जबलपुर
थाना कैंट क्षेत्र में एक्टिवा की डिक्की से नकदी चोरी करने वाले आरोपी को गिरफ्तार कर पुलिस ने नकद 5,070 रुपये, घटना में प्रयुक्त एक्टिवा और दो चाबियों के साथ गिरफ्तार कर न्यायालय में पेश किया है।
12 जुलाई को रंजीत गोंड़ (40 वर्ष), निवासी बल्दीकोरी की दफाई, रज्जन डेयरी के पास, घमापुर ने रिपोर्ट दर्ज कराई थी कि वह केडबरी कंपनी के हर्ष मार्केटिंग में सेल्समेन है। 1 जुलाई को वह सदर बाजार में ड्यूटी पर था। कोबरा कैंटीन, सदर के गेट के पास अपनी एक्टिवा (क्रमांक MP20 SG 6744) खड़ी कर उसने स्कूटी की डिक्की में 28 हजार रुपये और कस्टमर बिल की फाइल रखी थी। करीब 10 मिनट बाद वह वापस आया तो एक व्यक्ति उसकी एक्टिवा की डिक्की बंद करते हुए नजर आया। आवाज लगाने पर वह व्यक्ति अपनी एक्टिवा (क्रमांक CG04 MG 3565) से भाग गया।
डिग्गी चेक करने पर बैग और उसमें रखे रुपये व फाइल गायब थी। पीड़ित ने संदेह जताया कि उसी एक्टिवा चालक ने चोरी की है। कंपनी के कार्य से बाहर रहने के कारण वह तत्काल रिपोर्ट दर्ज नहीं कर सका था। पुलिस ने धारा 303(2) बीएनएस के तहत प्रकरण दर्ज कर जांच शुरू की।
पुलिस अधीक्षक जबलपुर ने घटना को गंभीरता से लेते हुए आरोपी की जल्द गिरफ्तारी के निर्देश दिए। अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक शहर एवं नगर पुलिस अधीक्षक कैंट के मार्गदर्शन में थाना प्रभारी कैंट के नेतृत्व में एक टीम गठित की गई।
टीम द्वारा इलाके के सीसीटीवी फुटेज खंगाले गए। फुटेज और वाहन नंबर के आधार पर आरोपी की पहचान कर जवाहर विद्या मंदिर के पास, घमापुर में दबिश दी गई। वहां से फुटेज में दिखे व्यक्ति को पकड़ा गया, जिसने पूछताछ में अपना नाम प्रतीक सोनी (37 वर्ष), निवासी महर्षि स्कूल के पास, लमती, विजय नगर बताया। आरोपी ने स्वीकार किया कि वह मौसी के घर घमापुर में रुका था और डिक्की की चाबी से उसे खोलकर रुपये चुराए थे।
उसके पास से नकद 5,070 रुपये, घटना में प्रयुक्त एक्टिवा और दो चाबियां बरामद हुईं। आरोपी ने शेष रुपये खर्च कर देना बताया। उसे गिरफ्तार कर न्यायालय में पेश किया गया है।
अपराधिक रिकॉर्ड है प्रतीक का
गिरफ्तार प्रतीक सोनी आपराधिक प्रवृत्ति का व्यक्ति है, जिसके विरुद्ध थाना कोतवाली, ओमती और रांझी में कुल 5 अपराध दर्ज हैं।
टीम की उल्लेखनीय भूमिका:
आरोपी की गिरफ्तारी में थाना प्रभारी कैंट के नेतृत्व में उप निरीक्षक नरेश सिंह, प्रधान आरक्षक राजेश शर्मा, जयंत नामदेव एवं आरक्षक संदीप की सराहनीय भूमिका रही।

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