[10/4, 20:41] Anurag Dixit: pr
प्रथम टुडे MP:-- मुख्यमंत्री के गृह जिले उज्जैन के कोठी रोड स्थित संकुल भवन से विक्रम नगर के बीच मंदिर हटाने पहुंची नगर निगम और पुलिस की टीम को रहवासियों और हिंदूवादी संगठनों के विरोध का सामना करना पड़ा।
इस दौरान रहवासी और हिंदूवादी संगठन के बीच आपस में लात घूंसे चलने से क्षेत्र में अफरा तफरी मच गई। पुलिस ने तत्काल दोनों पक्षों को अलग कर मामले को शांत करवाया।
उज्जैन के संकुल भवन से विक्रम नगर की ओर 24 मीटर चौड़ी फॉर लेन रोड बनाई जा रही है। इस रोड के बीच दो मंदिर आ रहे है। जिसको तोड़ने का कई लोग पहले भी विरोध कर चुके है। बुधवार को एसडीएम एलएन गर्ग सहित नगर निगम के अधिकारी और भारी पुलिस बल मंदिर को हटाने पहुंचा था। टीम ने क्रेन की सहायता से मंदिर के हिस्से को हटा दिया साथ ही अंदर स्थापित देवी माता की प्रतिमा को क्रेन से बांधकर हटाने की प्रक्रिया शुरू की।
मूर्ति के पूजन अर्चन पश्चात हटाने की मांग
इस दौरान हिंदूवादी संगठन हिंदू परिषद के जिला महामंत्री अंकित चौबे अपने साथियों के साथ विरोध करने पहुंच गए। इस बीच रहवासियों ने भी हिंदूवादी संगठन के साथ मिलकर प्रदर्शन करते हुए मंदिर में मौजूद मूर्तियों को विधवत पूजन अर्चन करवाकर दूसरे मंदिर में स्थापित करने की मांग की।
मंदिर हटाए जाने के विरोध में रहवासियों ने प्रदर्शन किया।
आपस में भिड़े हिंदू संगठन और रहवासी 3 महीने से मंदिर हटाने प्रदर्शन कर रहे लोग और हिंदू संगठन आमने-सामने
मंदिर को हटाने के विरोध में पिछले तीन महीने से प्रदर्शन किया जा रहा था। आज प्रदर्शन के दौरान प्रदर्शन कर रहे लोग और आपस में भीड़ गए । इस दौरान यहां जमकर लात घुसे चले। विवाद बढ़ता देख पुलिस ने दोनों पक्षों को शांत कराया। दोनों पक्षों में हुए विवाद का एक वीडियो भी सामने आया है।
प्रदर्शन के दौरान रहवासियों को पुलिस ने समझाइश दी। - एसडीएम लक्ष्मी नारायण गर्ग ने कहा,सड़क चौड़ीकरण की जद में आ रहे तेजाजी मंदिर के साथ काल भैरव और माता जी का मंदिर भी शामिल है। जिनको मूल स्वरुप में रखने की मांग हिंदूवादी संगठनों ने की है। जिसे हमने मान लिया है।
विश्व हिंदू परिषद जिला महामंत्री अंकित चौबे ने बताया कि हमने चौड़ीकरण कर विरोध नहीं किया हमारी यही मांग है कि मंदिर की मूर्ति हटाने के लिए विधिवत प्रक्रिया अपना कर मूर्तियों को दूसरे मंदिर में स्थापित किया जाए। हमारा कोई विवाद नहीं था कुछ लोग थे जो हमारे साथ नहीं थे बाद में वो भी मान गए
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