कहते हैं औरत जहां त्याग का प्रेम का प्रतीक मानी जाती है तो वही जब वह समाज में अत्याचार दिखती है तो अपना रूप बदल लेती है । जब मां दुर्गा ने देखा था की आता ताई समाज में अराजक बनकर मासूम लोगों को अपना निशाना बना रहे हैं तो उन्होंने रणचंडिका का रूप धारण कर लिया था । इसके बाद आज जब आतंकवादियों ने भी बेटियों के सामने उनके सिंदूरा को उजाड़ा था, उसके बाद भारत की सोफिया कुरैशी ने भी रण चंडिका बनकर आतंकवादियों को मिट्टी में मिलने का काम किया है । जय मां भवानी
Update [11/5, 17:08] Anurag Dixit:pratham today
प्रथम टुडे जबलपुर :-- भारत के ऑप्रेशन सिंदूर को सफल बनाने वाली कर्नल सूफिया कुरैशी देश की हर लड़की की इंस्प्रेशन बन चुकी हैं। सोफिया कुरैशी जितनी सफल सेना अधिकारी है उतनी ही दिलचस्प उनकी पर्सनल लाइफ भी है। सोफिया के दुनिया भर में मशहूर होते ही हर कोई उनके और उनके परिवार के बारे में जानना चाहता है। सोफिया के परिवार की कई पीढ़ियां सेना में अपना दमखम दिखा चुकी हैं और आने वाली पीढ़ियां भी भारतीय सेना में अपना नाम रोशन करना चाहती हैं।
सोफिया के पति भी है सेना में इंजीनियर
सोफिया कुरैशी के पति कर्नल सोफिया कुरैशी के पति ताजुद्दीन बागेवाड़ी मैकेनाइज्ड इन्फेंट्री में अधिकारी हैं। मैकेनाइज्ड इन्फेंट्री, एक ऐसी पैदल सेना होती है, जो युद्ध के मैदान में गति और ताकत के लिए वाहनों का इस्तेमाल करती है। ताजुद्दीन बागेवाड़ी बेलगावी के गोकक तालुक के कोन्नूर गांव के रहने वाले हैं। सोफिया और उनके पति ताजुद्दीन की शादी साल 2005 में हुई थी। इन दोनों की लव मैरिज थी। दोनों पति-पत्नी भारतीय सेना में सेवाएं दे रहे हैं। सोफिया इन दिनो में जम्मू में कर्नल के पद पर कार्यरत हैं, जबकि पति ताजुद्दीन बागेवाड़ी झांसी में कर्नल के पद पर कार्यरत हैं।
पूरा परिवार सेना में
सोफिया कुरैशी के हैं दो बच्चे सोफिया कुरैशी का 18 साल का बेटा भी है। बेटे का नाम समीर कुरैशी और बेटी का नाम हनीमा है। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक वह एयरफोर्स की तैयारी कर रहा है और उसका सपना भी देश सेवा करने का है। वहीं उनकी बेटी भी सेना में जाना चाहती है। सोफिया कुरैशी के पिता सोफिया के पिता भी BSF में सूबेदार हैं। सोफिया के पिता ताज मोहम्मद कुरैशी इलेक्ट्रॉनिक एंड मैकेनिकल इंजीनियर्स कोर में कार्यरत थे और 1971 के युद्ध में भी शामिल रहे। उनके दो चाचा इस्माइल कुरैशी और वली मुहम्मद भी BSF में सूबेदार हैं।
सोफिया की दादी ने लक्ष्मी बाई के साथ लड़ी थी अंग्रेजों से लड़ाइयां
सोफिया कुरैशी की दादी कर्नल सोफिया कुरेशी ने 2017 में एक इंटरव्यू दिया था तब उन्होंने अपने परिवार के बारे में बताया था। उन्होंने कहा था कि उनकी परदादी 1857 के विद्रोह में रानी लक्ष्मीबाई के साथ लड़ी थीं। वह एक योद्धा थीं। उनके दादाजी भी सेना में थे। TOI की रिपोर्ट के मुताबिक सोफिया कुरैशी के दादा भारतीय सेना में धार्मिक शिक्षक थे।
1999 में ज्वाइन की आर्मी
सोफिया कुरैशी की पढ़ाई उन्होंने 1997 में वडोदरा की महाराजा सयाजीराव यूनिवर्सिटी से बायोकैमिस्ट्री में मास्टर्स की डिग्री हासिल की। इसके बाद उन्होंने पीएचडी की पढ़ाई शुरू की, लेकिन पीएचडी छोड़कर उन्होंने साल 1999 में आर्मी जॉइन कर ली।
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